हिंगलाजिन और हिंगलाज

हिंगलाजिन माता बस्तर और हिंगलाज माता बलूचिस्तान.....! बस्तर प्राचीन काल से आज तक शाक्त धर्म का सबसे बड़ा केन्द्र है। सदियों से यहां देवी शक्ति की आराधना की जाती रही है। यहां विभिन्न नामों से देवियों की पूजा भक्ति की जाती है। बस्तर के हर ग्राम मे देवी का आराधना स्थल है जो कि हजारों वर्षों से है। बस्तर जिले के बकावंड ब्लाक में एक छोटा सा ग्राम है गिरोला। गिरोला में देवी हिंगलाजिन का मंदिर है। देवी हिंगलाजिन यहां सदियों से पूजी जा रही है। वर्तमान में यहां पर पक्का मंदिर बनाया गया है। यह मंदिर भी दक्षिण भारतीय शैली में बनाया गया है। नवरात्रि के समय में देवी दर्शन के लिये यहां भक्तों की भीड़ उमड़ती है। देवी हिंगलाजिन बस्तर के और भी अन्य ग्रामों में पूजी जाती है। बस्तर में जिस तरह से कई सदियों से आज तक देवी हिंगलाजिन मां को पूजा जाता है वैसे ही पाकिस्तान के बलुचिस्तान में देवी हिंगलाज माता भी सदियों से आज तक पूजी जा रही है। दोनो देवियों के नाम में तो समानता है और दोनो ही देवी सती के ही रूप है। देवी दंतेश्वरी बस्तर के प्रत्येक ग्राम में अलग अलग नाम से पूजी जाती है। दंतेवाड़...